World pneumonia day 2022: निमोनिया की रोकथाम के लिए आज ही अपनाएं बचाव के यह उपाय

World pneumonia day 2022

World pneumonia day 2022: मानव शरीर को स्वस्थ रखने के लिए बाहरी तथा आंतरिक बीमारियों से बचाना अत्यंत आवश्यक है। निमोनिया भी एक ऐसी गंभीर बीमारी है जो मानव शरीर के फेफड़ों को सीधा नुकसान पहुंचाती है। यह एक ऐसा रोग है जो सामान्य तौर पर बुजुर्ग और शिशुओं में पाया जाता है। निमोनिया एक ऐसा रोग है जिसके सर्दियों में बढ़ने की संभावना अधिक रहती है।

आपको बता दी दरअसल निमोनिया एक प्रकार का संक्रमण है। जो आमतौर पर बैक्टीरिया, वायरस या फंगी के कारण होता है। निमोनिया के होने से शरीर के दोनों फेफड़ों पर नकारात्मक प्रभाव पड़ता है। निमोनिया किसी भी आयु वर्ग के व्यक्ति को हो सकता है।

लेकिन छोटे बच्चों व बुजुर्गो में निमोनिया होने की संभावना अधिक रहती है क्योंकि उन लोगों के शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली काफी कमजोर होती है। इतना ही नहीं अक्सर ऐसा होता है कि निमोनिया के शुरुआती लक्षण मरीज में नहीं दिखाई देते हैं लेकिन आपातकालीन स्थिति में स्थिति बिगड़ सकती है।

World pneumonia day 2022
Image Credit:- gajabkhabre

आज हम अपने आर्टिकल के जरिए आपको निमोनिया से जुड़े कारण, बचाव, लक्षण और रोकथाम के विषय में जानकारी देने वाले हैं। तो आइए जानते हैं…

सर्वप्रथम आपको बता दें कि भारत में 12 नवंबर को विश्व निमोनिया दिवस मनाए जाने की शुरुआत हो गई है। दरअसल इस संक्रमण में होने वाली लगातार वृद्धि को रोकने के लिए और देश में इस बीमारी के प्रति जागरूकता बढ़ाने के लिए 12 नवंबर को विश्व में निमोनिया दिवस मनाया जाता है। इस दिवस के माध्यम से निमोनिया से बचने के लिए सुझाव प्रस्तुत किए जाते हैं और इसके लक्षणों के विषय में भी चर्चा की जाती है।

निमोनिया के कारण

निमोनिया होने का एक विशेष कारण है शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली का कमजोर होना। दरअसल जिस शरीर की इम्यूनिटी पावर कम होती है उसका शरीर निमोनिया का रोग जल्दी पकड़ता है। इसके अतिरिक्त वायु में मौजूद बैक्टीरिया और वायरस भी निमोनिया के कारण है। इसके अतिरिक्त धूम्रपान करने वाले तथा शराब का सेवन करने वालों में भी निमोनिया होना एक आम बात है। शरीर में एचआईवी जैसे इम्यूनोकॉम्प्रोमाइज्ड स्थितियों की उपस्थिति के चलते भी निमोनिया हो सकता है।

निमोनिया से बचाव

निमोनिया से बचने के न्यूमोकॉकल वैक्सीन, पीसीबी 13, हिमोफिलस इनफ्लुएंजाए टाइप बी वैक्सीन का उपयोग किया जा सकता है। निमोनिया के साथ फ्लू होने पर आप नियमित फ्लू शॉट भी ले सकते हैं। इसके अतिरिक्त साफ सफाई रखने से निमोनिया के संक्रमण को कम किया जा सकता है। खास थी और चित्र में अपने मुंह को ढक लेना चाहिए। इसके अतिरिक्त निमोनिया के संक्रमित मरीज से फेस टू फेस संपर्क ना करें।

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निमोनिया के लक्षण

निमोनिया रोग की विशेष लक्षण निम्नलिखित हैं:-

  1. निमोनिया के रोगी को ठंड लगती है और तेज बुखार आता है।
  2. निमोनिया के रोगी को थूक के साथ खासी हो सकती है जिसका रंग पीला पड़ सकता है।
  3. निमोनिया के रोगी में सांस फूलने के लक्षण को भी देखा जा सकता है।
  4. निमोनिया के कुछ रोगियों में सीने में दर्द, भूख ना लगना, खून की खासी होना इत्यादि लक्षण भी देखे जा सकते हैं।
  5. गंभीर स्थिति में रोगी के रक्त प्रवाह में संक्रमण भी विकसित हो सकता है।

निमोनिया का रोकथाम

निमोनिया रोग की रोकथाम के लिए टीकाकरण समय अनुसार कराना अत्यंत आवश्यक है। देशभर में महामारी के चलते कोविड-19 के कई टीकाकरण सुनिश्चित किए गए है। जो कि शरीर में इम्यूनिटी पावर को भी ग्रोथ करते हैं। ऐसे में इन टीकाकरण को कराना भी निमोनिया से बचने का एक तरीका हो सकता है। निमोनिया की रोकथाम के लिए समाज में इसके बचाव के उपायों को अपनाना बेहद आवश्यक है। नियमित शारीरिक व्यायाम और धूम्रपान शराब से परहेज यह सभी निमोनिया की संभावना को कम कर सकते हैं।